मशहूर नृत्यांगना मृणालिनी साराभाई का निधन

नई दिल्ली। मशहूर शास्त्रीय नर्तक, नृत्य निर्देशक और प्रशिक्षक मृणालिनी साराभाई का गुरुवार को अहमदाबाद में निधन हो गया। वे 97 साल की थीं। मृणालिनी को पद्मभूषण से सम्मानित किया जा चुका है। बुधवार सुबह उनको अहमदाबाद के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया था जहां उन्होंने अंतिम सांस ली। उनके देहांत की खबर मृणालिनी साराभाई की बेटी मल्लिका साराभाई ने अपने फेसबुक पेज पर दी। उन्होंने अपने पोस्ट में लिखा कि मेरी मां मृणालिनी बस उसे अनन्त नृत्य के लिए छोड़ दिया है।
मृणालिनी साराभाई का बच्पन स्विट्जरलैंड में गुजरा
मृणालिनी साराभाई की स्थिति काफी खराब थी। केरल में जन्मी मृणालिनी दर्पणा एकेडमी की संस्थापक थी। मृणालिनी ने अपना बचपन स्विट्जरलैंड में बिताया था। यहां डेलक्रूज स्कूल से उन्होंने पश्चिमी तकनीक से नृत्य कलाएं सीखीं। उन्होंने शांति निकेतन से भी शिक्षा प्राप्त की। उन्होंने भारत लौटकर जानीमानी नृत्यांगना मीनाक्षी सुंदरम पिल्लई से भरतनाट्यम का प्रशिक्षण लिया था और फिर दक्षिण भारतीय शास्त्रीय नृत्य और पौराणिक गुरु थाकाज़ी कुंचू कुरुप से कथकली के शास्त्रीय नृत्य-नाटक में प्रशिक्षण लिया था।
‘अम्मा‘ के नाम से जाना जाता था
केरल की रहने वालीं मृणालिनी को ‘अम्मा’ के तौर पर जाना जाता था। वो प्रमुख अंतरिक्ष वैज्ञानिक विक्रम साराभाई की पत्नी थीं। मृणालिनी भरतनाट्यम और कथककली में प्रशिक्षित थीं और अहमदाबाद स्थित डांस स्कूल दर्पण एकेडमी ऑफ परफॉर्मिंग आर्ट्स की फाउंडर डायरेक्टर थीं। मृणालिनी की बड़ी बहन लक्ष्मी सहगल एक स्वतंत्रता सेनानी थीं। मृणालिनी को पद्म भूषण, पद्म श्री समेत कई प्रतिष्ठित अवॉर्ड्स से नवाजा जा चुका है।