Farmers Protests: टिकैत ने कहा जरूरत पड़ने पर 2023 तक चलेगा किसान आंदोलन, शाहीन बाग जैसा बर्ताव नहीं होना चाहिए
राकेश टिकैत ने ऐलान किया है कि जब तक सरकार नए कृषि कानूनों को वापस नहीं लेती तब तक यह आंदोलन चलता रहेगा।

नई दिल्ली: केंद्र सरकार द्वारा लाए गए कृषि कानूनों का विरोध कई किसान संगठन लंबे समय से कर रहे है। विरोध प्रदर्शन करते हुए कई किसान संगठनों के नेता और किसान लंबे समय से दिल्ली के पास बार्डर बैठे है और कानून वापसी के लिए आंदोलन कर रहे हैं। भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत ने बुधवार को हरियाणा के यमुनानगर में कहा कि सरकार को किसान आंदोलन के साथ उस तरह का बर्ताव नहीं करना चाहिए, जैसा कि पिछले साल दिल्ली के शाहीन बाग में विरोध प्रदर्शन के दौरान किया गया था।
रकेश टिकैत ने कहा कि प्रदर्शनकारी किसान घर तभी लौटेंगे, जब नए कृषि कानून वापस ले लिए जाएंगे। उन्होंने कहा कि आंदोलन कर रहें किसान, कोविड-19 के सभी नियमों का पालन करेंगे और जरूरत पड़ने पर 2023 तक आंदोलन जारी रहेगा। टिकैत ने कहा कि केंद्र के नए कृषि कानूनों से किसानों को केवल नुकसान ही होगा।
राकेश टिकैत ने किया ऐलान
राकेश टिकैत ने ऐलान किया है कि जब तक सरकार नए कृषि कानूनों को वापस नहीं लेती तब तक यह आंदोलन चलता रहेगा। सभी किसान बॉर्डर पर ही डटे रहेंगे और सरकार किसी भी गलतफहमी में ना रहे और उनका आंदोलन अभी लंबा चलने वाला है। देश में बढ़ते कोरोना संक्रमण के मामले पर टिकैत ने कहा कि चाहे देश में लॉकडाउन लग जाए, लेकिन किसान बार्डर वहां से टस से मस नहीं होंगे।
उन्होंने साफ करते हुए कहा कि नए कृषि कानून वापस होने तक उनका आंदोलन चलता रहेगा। इस देश में आपातकाल कर्फ्यू या अन्य आपदा भी आती है तो तब भी किसान अब पीछे नहीं हटने वाले हैं।
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