नारी निकेतन मामला : सरकार ने भी पहली बार मानी गलती

देहरादून। नारी निकेतन मामले पर प्रदेश की रावत सरकार ने पहली बार गलती स्वीकार की है। कांग्रेस भवन में मीडिया से बातचीत में सीएम ने इस बात को बेबाकी से कहा कि सरकार से कुछ हद तक चूक जरूर हुयी है। इसके साथ ही मामले की जांच के लिये एसआईटी के दायरे को बढ़ाने पर भी जोर दिया। सीएम रावत ने कहा कि जरूरत पड़ने पर मृत संवासिनियों की पूरी जांच को एसआईटी को भी सौंपा जा सकता है।
ये भी पढ़ें – नारी निकेतन मामला : चार और संवासिनियां दून अस्पताल में भर्ती
इस बीच सूत्रों से मिल रही जानकारी के मुताबिक नारी निकेतन देहरादून से मानसिक रूप से बीमार 60 संवासिनियों को हरिद्वार के एक निजी एनजीओ में शिफ्ट करने की बात चल रही है। इस एनजीओ में संवासिनियों को रखने पर सालाना खर्च करीब 80 लाख रुपये तक आयेगा। हालांकि सरकार और एनजीओ में अभी बातचीत चल रही है और बात बनने पर संवासिनियों को शिफ्ट भी किया जा सकता है।